Monday 23 March 2020

विश्वास जगाये, डर भगाइये


         वास्तव में डर एक शक्तिशाली भावना है। किसी न किसी रूप में डर लोगों को वह हासिल करने से रोकता  है जो वे जीवन में हासिल करना चाहते हैं। 
         इसके लिए सबसे पहले हमें उपचार के पहले की तैयारी करनी होगी। यह जानना होगा की आत्माविश्वास आसमान से आकर हमारे दिमाग में नहीं  घुसता, बल्कि  हासिल  किया जाता  है, विकसित  किया जाता है। कोइ भी  आदमी  आत्माविश्वास  के  साथ  पैदा नहीं  होता। जिन लोगों  में  आत्माविश्वास  प्रचुरता  में  होता  है, जिन्होने चिंता  को जीत  लिया  है, जो हर जगह और हर कहीं  बेफिक्री से  आते-जाते हैं, उन्होंने  यह आत्माविश्वास  धीरे-धीरे  हासिल  किया  है। 


आप भी ऐसा ही कर सकते हैं। यह अध्याय आपको बतायेगा, कैसे। 
          द्वितीय  विश्वयुद्ध में नैवी‌ ने यह फैसला किया कि इसके सभी नये रंगरूटों को तैरना आना चाहिये। इसके पीछे यह विचार था कि तैरना आने से किसी डूबते आदमी की जान बचाई जा सकती हैं।
           जिन लोगों को तैरना नहीं आता था, उनके लिए तैरने की कक्षाएं आयोजित की गई।सतही तौर पर यह देखना मजेदार था कि इतने बड़े-बड़े ,जवान और सर्वसमर्थ लोग कुछ फुट गहरे पानी में कूदने से घबरा रहे थे। इन लोगों को छह फूट ऊॅचे स्टैंड से पानी में कूदना था और पानी सिफॅ ८ फुट गहरा था। हालांकि आसपास बहुत से विशेषज्ञ तैराक खडे़ थे और जान का कोई जोख़िम नहीं था, फिर भी  ये वयस्क लोग बुरी तरह आतंकित थे।
           गहराई से सोचने पर यह दुखद प्रसंग था। उनका डर वास्तविक था। परंतु उनमें और हार के डर के बीच में केवल एक ही चीज़ आड़े आ रही थी,और वह थी नीचे के पानी में छलांग । एक से ज़्यादा बार मैंने देखा कि इन युवकों को बोर्ड से ' अनपेक्षित ' धक्का दे दिया गया । और इसका परिणाम यह हुआ कि पानी से उनका डर हमेशा के लिये दूर हो गया ।
हज़ारों भूतपूर्व नेवी के जवान इस घटना से परिचित होंगे । इस घटना से हमें यह शिक्षा मिलती हैः काम करने से डर दूर होता है । दुविधा में रहने या अनिर्णय की स्थिति में रहने से या काम टालने से हमारा डर बढ़ता है ।
            इसे अभी हाल अपनी सफल नियमों की पुस्तिका में लिख लें । काम करने से डर दूर होता है ।


              कर्म के सिद्धांत पर अमल करें । अगली बार जब भी आपको डर लगे, चाहे डर छोटा हो या बड़ा , अपने आपको संभालें । फिर इस सवाल का जवाब ढूंढे: 'किस तरह के काम से मैं अपने डर को जीत सकता हूॅ ? ' 

अपने डर का कारण खोज लें । फिर उचित कदम उठायें ।
डर और उनके उपचार के कुछ उदाहरण नीचे बताये गये हैं ।

         डर का प्रकार                                   इलाज
1 . रंगरूप के कारण झिझक:- अपना हुलिया सुधारिये । नाई                                     की दुकान या ब्यूटी पार्लर में  जाइये। जूते चमकाइये । साफ और प्रेस किटे हुये कपड़े पहनिये । बेहतर ढंग से तैयार होइये । अच्छा दिखने के लिये हमें हमेशा नये कपड़ों की ज़रूरत नहीं होती । 

2 . किसी महत्वपूर्ण ग्राहक को खो देने का खतरा:-
                                      बेहतर सेवा देने की दगनी कोशिश करें। ऐसी हर चीज़ को सुधार लें जिससे आपके ग्राहकों का आपमें विश्वास कम होता हो ।

3 . परीक्षा में फेल हो जाने का डर:- चिंता में समय गंवाने के                                      बजाय इस समय को पढ़ने में लगायें।

4 . यह डर कि दूसरे  लोग क्या सोचेंगे या क्या कहेंगे:-
यह सुनिश्चित कर लें कि आप जो करना चाहते हैं वह सही है । फिर उस काम को कर दें । किसी भी आदमी ने बिना आलोचना के कोई महत्वपूर्ण काम कभी नहीं किया । 

5 . निवेश करने या घर खरीदने के पहले का डर:- 
सभी पहलुओं पर विचार कर लें ।  फिर फैसला करें । एक बार फैसला करने के बाद आप उसी के हिसाब से काम करें । अपनी बुद्धि और अपने निर्णय में विश्वास रखें ।

6 . लोगों का डर:- चीज़ों को सही नज़रिये से देखें । याद रखें ,                        सामने वाला आदमी भी आप ही की तरह                             एक इन्सान है ।

डर का इलाज करने और विश्वास हासिल करने के लिये ये दो कदम उठायें :
1)डर का असली कारण पता करें । यह तय कर लें कि आप वास्तव में किस चीज़ से डर रहे हैं ।

2) फिर कर्म करें । हर तरह का डर किसी न किसी तरह के काम से दूर हो सकता है ।

            और याद रखें , झिझकने से आपका डर बढ़ता ही है, कम नहीं होता । इसलिये देर न करें, बल्कि तत्काल काम में जुट जायें । फैसला करें । 


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